डेस्क:- कोरोना वायरस का प्रकोप तो पूरी दुनिया पर दिख रहा है, लेकिन वही भारत में कुछ ऐसा हुआ कि कोरोना वायरस की वजह से एक परिवार की खुशियां वापस आ गई। देशभर में कोरोना वायरस महामारी का बड़ा रूप लेता जा रहा है न सिर्फ देश में बल्कि पूरी दुनिया में लोग कोरोना वायरस से त्रस्त हैं तो वही कोरोना वायरस और इसे रोकने के लिए प्रधानमंत्री मोदी के आह्वान के बाद जो लॉकडाउन देश में हुआ उसके बाद ऐसी परिस्थिति उत्पन्न हो गई कि 7 साल पहले मरा हुआ व्यक्ति भी जिंदा हो गया और घर वापस आ गया।
यह भी पढ़ें:- कानपुर: हाथ में थूक कर हर जगह लगा रहे हैं जमाती
आपको बता दें कि पूरा मामला बिहार के छपरा में भेल्दी थाना के पाएगा मित्रसेन गांव का है जहां पर गांव के ही बाबू लाल दास का पुत्र अजय कुमार उर्फ विवेक दास 7 साल पहले कहीं गायब हो गया था, अचानक लापता हो जाने की वजह से परिवार जनों ने उसकी खोज हर जगह की लेकिन वह नहीं मिला परिजनों ने अजय की बहुत तलाश थी जिसके बाद दो-तीन साल बाद भी वह घर ना लौटा तो घर वालों ने यह मान लिया कि अजय अब इस दुनिया में नहीं है, अजय को मृत्यु जानकर परिवार वालों ने धीरे-धीरे अजय को भुला दिया,जिसके बाद परिवार वालों ने अजय की छानबीन और तलाश को भी बंद कर दिया।
यह भी पढ़ें:-https://india19news.com/second-covid-19-hospital-in-the-state-is-ready-in-kanpur/
लेकिन कहा जाता है कि जिसकी रक्षा स्वयं परमात्मा करते हैं। उसे कोई कभी नहीं मार सकता जाको राखे साइयां मार सके ना कोई और इसी के साथ अजय के साथ एक ऐसा वाकया घटा कि अजय अपने परिवार के साथ आज अपना समय व्यतीत कर रहा है। आपको बताते हैं कि अजय अपने परिवार से कैसे मिला, असल में उत्तर प्रदेश पुलिस एक युवक को लेकर बिहार के भेल्दी थाना पहुंची जहां उसे अजय कुमार उर्फ विवेक बताकर उसके बारे में पूछताछ उत्तर प्रदेश पुलिस ने शुरू की तो वहीं बिहार पुलिस के भेल्दी थाना अध्यक्ष विकास कुमार की ओर से जानकारी मिली जिसके आधार पर उत्तर प्रदेश की पुलिस अजय को लेकर पैगा मित्रसेन गांव पहुंची,तो वहीं गांव में पहुंची पुलिस को देख कर लोगों में हड़कंप मच गया,आखिर ऐसा हो भी क्यों ना कि क्योंकि गांव में पहली बार सुबह-सुबह पुलिस आई थी।
हालांकि बाबूलाल दास के परिवार ने वह नहीं सोचा जो उनके साथ होने वाला था,लेकिन जब बाबू लाल दास का परिवार अपने बेटे अजय से मिला तो उनकी खुशी का ठिकाना नहीं रहा यूपी पुलिस ने बताया कि घर से गायब होने के बाद अजय भटकते हुए यूपी के बाराबंकी पर चला गया था,फिर वहां एक आपराधिक मामले में जेल चला गया जिसके बाद वह सजा काट रहा था। कोरोना के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए कोर्ट ने कुछ कैदियों को पैरोल पर रिहा करने के आदेश दिए जिसमें अजय कुमार का नाम भी शामिल था।
इस तरह की और भी तमाम जानकारियों के साथ जुड़े रहने के लिए फॉलो करें हमें टि्वटर पर और सब्सक्राइब करें हमारे यूट्यूब चैनल।