तापमान में गिरावट के साथ ही कानपुर का वायु प्रदूषण भी बढ़ता जा रहा है. वायु प्रदूषण को लेकर नगर निगम के उपायों से लेकर प्रशासनिक अफसरों ने सख्ती के जो निर्देश दिए थे, वह भी काम नहीं कर पा रहे हैं. हालात यह हो गए हैं कानपुर का एयर क्वालिटी इंडेक्स उछलकर 441 पर पहुंच गया. नेहरू नगर स्थित जांच केंद्र के मुताबिक, तो वायु प्रदूषण का स्तर और ज्यादा बढ़ गया. इसकी वजह से सबसे ज्यादा समस्या सांस के रोगियों के सामने दिखने लगी है.
तापमान में गिरावट के साथ ही प्रशासनिक से लेकर नगर निगम अफसरों ने इसे दूर करने के कई प्रयास किये. स्मॉग गन का चयनित रास्तों पर प्रयोग हो रहा है. मेट्रो निर्माण कार्य के आसपास पानी के छिड़काव के बावजूद कानपुर का एयर क्वालिटी इंडेक्स और खराब होता जा रहा है. वायुमंडल में अति सूक्ष्म कण और हानिकारक गैसों का घनत्व लगातार बढ़ता जा रहा है. हालात यह हो गए कि कानपुर प्रदेश के सबसे प्रदूषित शहरों में तीसरे नंबर पर पहुंच गया. प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के जारी आंकड़ों में कानपुर का एयर क्वालिटी इंडेक्स 441 पर पहुंच गया. इसका मतलब हो गया कि कानपुर की खराब हवा न केवल बीमारों के लिए खतरा बन गई है बल्कि सेहतमंद लोगों को भी प्रभावित करने वाली हो गई है.
इसके साथ ही अति सूक्ष्म कण, नाइट्रोजन डाईऑक्साइड, कार्बन डाईऑक्साइड, सल्फर डाईऑक्साइड, कार्बन मोनोऑक्साइड समेत अन्य गैसों का जमाव वायुमंडल में बढ़ता जा रहा है. सबसे ज्यादा खराब हालात सुबह और शाम के समय दिख रहे हैं. इन स्थितियोें के बावजूद कूड़े को जलाना जारी है. निर्माण कार्यों में भी नियमों का पालन नहीं दिख रहा है. वायु प्रदूषण की खराब होती स्थितियों के बीच प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड अब मोहल्लों की एयर क्वालिटी की जानकारी के लिए मोबाइल एयर सैंपलर का सहारा लेने जा रहा है.